Uttarakhand News | उत्तराखंड में चल रही केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी चारधाम ऑल वेदर रोड (हाईवे) परियोजना एक बार फिर विवादों में घिर गई है। परियोजना के तहत उत्तरकाशी से गंगोत्री के बीच करीब 7,000 देवदार के पेड़ों की कटाई प्रस्तावित है, जिसका स्थानीय लोगों से लेकर राष्ट्रीय स्तर तक विरोध शुरू हो गया है।
मीडिया रिपोर्टस के अनुसार, लगभग 12,769 करोड़ रुपये की लागत वाली इस परियोजना के लिए कुल 56,000 पेड़ काटे जाने थे, जिनमें से अब तक करीब 36,000 पेड़ काटे जा चुके हैं। सबसे अधिक चर्चा अब उत्तरकाशी क्षेत्र के इन 7,000 देवदार पेड़ों को लेकर है।
RSS और BJP नेताओं ने भी जताया विरोध
परियोजना के खिलाफ RSS के सह–सरकार्यवाह कृष्ण गोपाल और BJP के वरिष्ठ नेता मुरली मनोहर जोशी ने भी सार्वजनिक रूप से अपनी आपत्ति जताई है। दोनों ने देवदार जैसे दुर्लभ और पर्यावरणीय दृष्टि से महत्वपूर्ण पेड़ों की कटाई पर चिंता व्यक्त की है।
लोगों ने पेड़ों को बांधा ‘रक्षा सूत्र’
उत्तरकाशी में स्थानीय नागरिक और पर्यावरण प्रेमियों ने इन पेड़ों को बचाने के लिए अनोखा तरीका अपनाया है। बीते दो दिनों में सैकड़ों लोगों ने देवदार के पेड़ों पर रक्षा सूत्र बांधकर संरक्षण का संकल्प लिया।
इस अभियान को समर्थन देने के लिए स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती भी मौके पर पहुंचे।
स्थानीय लोगों का कहना है कि देवदार के ये वृक्ष पहाड़ी पारिस्थितिकी तंत्र के लिए बेहद महत्वपूर्ण हैं, और बड़े पैमाने पर कटाई से क्षेत्र में पर्यावरणीय संतुलन बिगड़ सकता है।
सरकारी पक्ष और आगे की प्रक्रिया
हालाँकि, परियोजना से जुड़े अधिकारियों का कहना है कि ये सड़कें आपदा के समय तीर्थयात्रियों की सुरक्षा और सुविधाओं के लिए बेहद आवश्यक हैं। लेकिन विरोध बढ़ने के बाद स्थानीय प्रशासन और वन विभाग पर परियोजना का पुनर्मूल्यांकन करने का दबाव बढ़ रहा है।
